POORAN RAWAT/EDITOR
बीते 19 सितंबर की देर रात रुद्रपुर के एनएच-74 पर स्थित पाम ग्रीन बिल्डर के ऑफिस को जेसीबी मशीनों से ध्वस्त करवाने का मुख्य आरोपी अवतार सिंह तारु और उसके गुर्गों को रुद्रपुर कोतवाली पुलिस 10 दिनों बाद भी गिरफ्तार नहीं कर सकी है….इस पूरे मामले में एक तरफ जहां रुद्रपुर कोतवाली पुलिस ने शिकायतकर्ता प्रिया शर्मा की तहरीर के आधार पर रुद्रपुर कोतवाली में हिस्ट्रीशीटर अवतार सिंह तारू,किरतपुर निवासी वीरेंद्र सिंह,ऐश फर्नीचर रुद्रपुर के मालिक विजय कुमार गाबा,नैनीताल मोटर्स के मालिक भूपेश अग्रवाल,भूपेश अग्रवाल के ताऊ रोहतास अग्रवाल और उनके बेटे एवं स्वास्तिक मिनरल इंडस्ट्री के मालिक विनय अग्रवाल के खिलाफ आईपीसी की धारा 457,380,427,342,354, 504,506,120 बी के तहत रुद्रपुर कोतवाली में मुकदमा दर्ज किया कर लिया था….
वही दूसरी तरफ पुलिस को जांच में यह भी पता चला है कि बीते 19 सितंबर की रात को पाम ग्रीन के ऑफिस को जेसीबी मशीनों से ध्वस्त करवाने के मामले में अवतार सिंह के साथ उसके गनर के तौर पर ग्राम किरतपुर का रहने वाला राणा प्रताप,ग्राम छतरपुर का रहने वाला शातिर अपराधी साहब सिंह और ग्राम किरतपुर का ही रहने वाला अवतार सिंह का ड्राइवर सिद्धार्थ पुत्र पारसनाथ भी शामिल था….हम आपको बता दें कि इस पूरी वारदात को अंजाम देने के बाद राणा प्रताप,साहब सिंह और सिद्धार्थ भी अवतार सिंह तारु की तर्ज पर भूमिगत हो गए हैं….फिलहाल इस पूरे मामले में सुरक्षा के मद्देनजर शिकायतकर्ता प्रिया शर्मा को एक सशस्त्र कॉन्स्टेबल भी उपलब्ध करा दिया गया है….उधर इस पूरे मामले में गिरफ्तारी से बचने के लिए नैनीताल मोटर्स के मालिक भूपेश अग्रवाल के ताऊ रोहतास अग्रवाल हाईकोर्ट की शरण में पहुंच गए हैं और आगामी 30 सितंबर को हाईकोर्ट में इस पूरे मामले की सुनवाई होनी है….उधर सूत्रों की माने तो पाम ग्रीन बिल्डर के ऑफिस को खुलेआम जेसीबी मशीनों से ध्वस्त करवाने वाले शातिर अपराधी अवतार सिंह तारु की जिले में तैनात एक पुलिस अधिकारी ने काफी मदद की थी और उसी पुलिस अधिकारी की मदद से अवतार सिंह तारु अभी भी पुलिस की गिरफ्त से दूर है….
दरअसल इस पूरे मामले में एक बात आज तक लोगों की समझ में नहीं आई कि लगातार 4 घंटे तक राष्ट्रीय राजमार्ग से एकदम लगे हुए पाम ग्रीन बिल्डर के ऑफिस को अपराधी जेसीबी मशीनों से ध्वस्त करवाने के बाद मौके से ट्रकों के माध्यम से ऑफिस का मलवा तक भी हटवा दिया पर रुद्रपुर कोतवाली पुलिस को इस बात की भनक तक नहीं लगी….हालांकि इस पूरे मामले में जिले के वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक कुंवर सिंह दलीप सिंह कुंवर काफी सख्त रुख अपनाए हुए हैं पर बावजूद इसके नामजद सभी आरोपी आज तक पुलिस की गिरफ्त से बाहर है….उधर रुद्रपुर के नवनियुक्त कोतवाल एनएन पंत का यह कहना है कि बिल्डर के ऑफिस को गिराने के सभी आरोपियों की गिरफ्तारी के प्रयास जारी है और सभी आरोपियों की गिरफ्तारी के लिए पुलिस लगातार दबिश दे रही है जबकि इस मामले में नामजद हल्द्वानी निवासी तीनों अग्रवाल बंधु और ऐश फर्नीचर रुद्रपुर के मालिक विजय कुमार गाबा नियमित तौर पर अपने कार्यालय आ-जा रहे हैं पर शायद पुलिस को दबिश के दौरान दिखाई नहीं दे रहे होंगे….जानकारी यह भी मिल रही है कि इस पूरे मामले का मुख्य आरोपी अवतार सिंह तारु अब कभी भी जिला न्यायालय में आत्मसमर्पण कर सकता है….खैर अब देखना यह होगा कि रुद्रपुर कोतवाली पुलिस इस पूरे मामले के आरोपियों को कब तक गिरफ्तार कर पाती है ?
जानिए क्यों,पुलिस की पकड़ से बाहर हैं जेसीबी मशीनों से बिल्डर के ऑफिस को ध्वस्त करवाने के सभी आरोपी
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